इस दौरान घर के आंगन से घंटे-घड़ियाल और शंख ध्वनी के साथ आसमान में लोबान की खुशबू महकती रहेगी। पूजा-अर्चना के दौरान तुलसी मैया और भगवान सालिग्राम को नई फसल के शाक फल का भोग लगाया जाएगा, जिसमें खास तौर पर चना भाजी, शकरकंद, सिंघाड़ा, सीताफल, अमरूद, मूंगफल्ली, पेठा आदि प्रमुख रहेंगे।
इस दौरान सुहागिन महिलाएं तुलसी माता को सुहाग की सामग्री भी भेंट करेंगी। इसके बाद बच्चों जमकर आतिशबाजी करेंगे, जिससे पूरा आसमान रंगीन धमाकों के साथ गूंजता रहेगा। एक बार फिर चारों ओर दीपावली जैसा माहौल बनता दिखाई देगा।

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